किशोरी शिक्षित और जागरूक होगी तो अपने परिवार समाज पूरे राष्ट्र के लिए स्टेट्स होगी: डॉ अतुल
सुशील कुमार मिश्र/वाराणसी
बच्चों का अधिकार सुनिश्चित करना सिर्फ उनकी नैसर्गिक ही नहीं बल्कि संवैधानिक आवश्यकता है, क्योकि उन्ही के हाँथ में देश की बागडौर आनी है I आज यदि देश के बच्चे और विशेषकर किशोरियां शिक्षित और जागरूक होंगी तो न वे सिर्फ अपने लिए बल्कि अपने परिवार समाज और पुरे राष्ट्र के लिए एसेट बनेगी I उक्त विचार सारनाथ सर्किल के सहायक पुलिस आयुक्त डॉ.अतुल अंजान त्रिपाठी ने व्यक्त किये I डॉ.शम्भुनाथ सिंह रिसर्च फाउंडेशन एवं अजीम प्रेमजी फिलेंथ्रोपिक इनिसिएटिव द्वारा बाल अधिकार संरक्षण पखवाड़े की पूर्व संध्या पर सारनाथ क्षेत्र में स्थापित जेंडर रिसोर्स सेंटर के उद्घाटन के अवसर पर विचार व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि आज देश में ऐसी संस्थाओं की आवश्यकता है जो किशोर-किशोरियों में सामाजिक न्याय, लैंगिक समानता तथा शांति व सौहार्द के लिए कार्य करे I
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए संस्था की अध्यक्ष एड.विजयश्री सिंह ने कहा कि आज के बदलते युग में युवाओं व किशोरियों को सांस्कृतिक संक्रमण के दौर से गुजरना पड़ रहा है जिसका मुकाबला उन्हें तकनिकी एवं नैतिक रूप से दक्ष बनाकर ही किया जा सकता है I प्रारंभ में अतिथियों का स्वागत करते हुए संस्था की कार्यक्रम निदेशक डॉ.रोली सिंह ने कहा कि संस्था द्वारा APF संस्था के सहयोग से वरुणा पर की 15 नव शहरी बस्तियों में शक्तिपरी परियोजना प्रारंभ की गयी है जिसमे 11 से 19 साल की किशोरियों के शिक्षा, स्वास्थ्य, पौषण एवं कौशल विकास के क्षेत्र में कार्य किया जायेगा, उसी कड़ी में आज इस जेंडर रिसोर्स सेंटर का उद्घाटन किया जा रहा है जिसमे क्षेत्रीय किशोर-किशोरियां लैंगिक समानता व समावेशन के गुर सीखेंगे I
इस अवसर पर सारनाथ व आस-पास की बस्तियों की सैकड़ो लडकियों ने खेलकूद व सांस्कृतिक गतिविधियों का आयोजन किया, कार्यक्रम का संचालन संस्था के महासचिव राजीव कुमार सिंह एवं धन्यवाद ज्ञापन परियोजना प्रबंधक श्रीमती पूजा श्रीवास्तव ने किया I कार्यक्रम का समन्वय श्रीमती दीक्षा सिंह ने किया जिसमे परवेश मौर्य, अजय, मनोज, प्रियंका, प्रिया, वर्षा, रश्मि, काजल, पूजा, कल्पना आदि ने सहयोग प्रदान किया I