वाराणसी । बीएचयू अमेरिका फाउंडेशन के पदाधिकारी अरविंद जैन तथा काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सुधीर जैन ने रविवार को भारत माता मंदिर का भ्रमण किया। उनके साथ काशी विद्यापीठ के दो बार कुलपति रहे प्रो. पृथ्वीश नाग ने भी मंदिर का अवलोकन किया।
महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के पूर्व कोषाध्यक्ष व इस विश्वविद्यालय के संस्थापक श्री शिव प्रसाद गुप्त के दौहित्र स्व. भूपेंद्र कुमार गुप्त की 31वीं पुण्यतिथि पर उनके पुत्र श्री अंबुज कुमार गुप्ता ने अपने पिता द्वारा किये गए कार्यों पर चर्चा की। श्री अंबुज ने वहां लगे शिलालेख को दर्शाते हुए बताया कि इस मंदिर का निर्माण श्री शिव प्रसाद गुप्त, शिलान्यास काशी विद्यापीठ के संस्थापक कुलपति भारत रत्न डा. भगवान दास व उद्घाटन महात्मा गांधी ने किया था। उन्होंने बताया कि इस मंदिर के विकास व रख रखाव में उनके पिता भूपेंद्र कुमार गुप्त का योगदान रहा है। वे अपने जीवन के अंतिम दिनों तक इस स्थान के भव्य स्वरूप के विषय पर ही कार्यरत रहे।
इस मंदिर में अखंड भारत का मानचित्र है। इसमें भारत के संपूर्ण भौगोलिक स्वरूप को यथार्थ भाव में दर्शाया गया है। सागर और पर्वतों का अंकन उत्कृष्ट है। इसके अलावा वहां समस्त भारतीय भाषाओं की विस्तार पूर्वक तालिका है। जिसमें सभी भाषाओं की वर्णमाला है। इस दृश्य को देखकर बीएचयू कुलपति प्रो. सुधीर जैन, अरविंद जैन व उनकी धर्मपत्नी अभिभूत रहीं।
भ्रमण के दौरान बीएचयू कुलपति प्रो. सुधीर जैन ने कहा कि यह भारत माता मंदिर काशी के पर्यटन का महत्वपूर्ण केंद्र है। इसका जीर्णोद्धार यदि हो जाए तो लोगों को अपनी संस्कृति और इतिहास जानने का गौरव प्राप्त होगा। इस अवसर पर विद्यापीठ के पूर्व कुलपति प्रो. पृथ्वीश नाग, अग्रेसन कन्या पीजी कॉलेज की प्रबंधक डा. मधु अग्रवाल, उप प्रबंधक डा. रूबी शाह, गोपी राधा बालिका इण्टर कॉलेज के प्रबंधक व भारत रत्न डा. भगवान दास के प्रपौत्र डा. मनोज कुमार शाह ने भारत माता मंदिर के महत्व व स्व. भूपेंद्र कुमार गुप्त जी के व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर विचार व्यक्त किये। सभी का स्वागत व धन्यवाद ज्ञापन अंबुज कुमार गुप्त ने किया।